प्रतिवर्ष मार्च के महीने में राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाया जाता है। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस दुर्घटनाओं को रोकने के लिए किए जाने वाले सुरक्षा उपायों के बारे में जनता को जागरूक करने के उद्देश्य से मनाया जाता है। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस को पूरे सप्ताह मनाया जाता है और विभिन्न कार्यक्रमों के जरिए लोगों को सुरक्षित रहने के लिए बताया जाता है। लेकिन क्या आपको पता है कि राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाने की जरूरत क्यों पड़ी और इस दिन को मार्च के महीने में मनाए जाने की क्या वजह है? जानिए राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह के इतिहास, महत्व और थीम के बारे में।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस प्रत्येक साल 4 मार्च को मनाया जाता हैं। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के द्वारा लोगों को सुरक्षा के प्रति जागरूक किया जाता है ताकि आपातकाल की स्थिति में आप अपनी सुरक्षा आसानी से कर सके। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर, लोगों को सुरक्षा प्रक्रियाओं का पालन करने और अपने जीवन के सभी पहलुओं में सुरक्षित व्यवहार अपनाने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस सुरक्षा की संस्कृति को भी बढ़ावा देता हैं। जिसमें व्यक्ति अपनी सुरक्षा के साथ-साथ दूसरे लोगों की सुरक्षा जिम्मेदारी का निर्वाह करता है। जिससे दुर्घटना के मामलों में कमी आ सके। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर, सुरक्षा को बढ़ावा देने में उल्लेखनीय योगदान देने वाले लोगों और संगठनों को उनकी उपलब्धियों के लिए सम्मानित किया जाता हैं।
क्या है राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस
कार्य स्थल पर दुर्घटना और दुर्घटनाओं से बचने के लिए सुरक्षा प्रोटोकॉल के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए हर साल 4 मार्च को राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाया जाता है। इस दिन का उद्देश्य आम जनता को सुरक्षित रूप से काम करने के लिए अपनाए जाने वाले उपायों के बारे में शिक्षित करना है। राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद एक गैर-लाभकारी राष्ट्रीय निकाय है जिनकी स्थापना 4 मार्च, 1966 को श्रम और रोजगार मंत्रालय के द्वारा किया गया था। तभी से राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाने की परंपरा शुरू हुई इसका अनुसरण हम सभी लोग आज कर रहे हैं।
कब है राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 4 मार्च को भारत वर्ष में मनाया जाता है इस दिन कई प्रकार के राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस संबंधित सरकारी कार्यक्रम आयोजित होते हैं यहां पर सुरक्षा के क्षेत्र में काम करने वाले संगठन और संस्थान सम्मिलित होते हैं। इसके अलावा स्कूलों में भी कई प्रकार के राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस संबंधी से एजुकेशनल कार्यक्रम आयोजित होते हैं। जहां पर छात्रों को राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के बारे में व्यापक जानकारी प्रदान की जाती हैं। ताकि सुरक्षा के प्रति छात्र भी जागरूक बन सके।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस क्यों मनाया जाता है?
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस प्रत्येक साल 4 मार्च को मनाया जाता है क्योंकि 4 मार्च 1966 को भारत सरकार के श्रम और रोजगार मंत्रालय के द्वारा गैर लाभकारी संस्थान के रूप में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की स्थापना की गई थी। जिसका प्रमुख श्रमिक वर्ग के लोगों को कार्यस्थल पर सुरक्षा प्रदान करना था। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस की स्थापना पहली बार 1972 में की गई थी। उसके बाद से ही भारत में राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस प्रत्येक साल 4 मार्च को मनाने की परंपरा शुरू हुई |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस का महत्व |
* यह कार्यस्थलों, उद्योगों, घरों और सार्वजनिक स्थानों सहित विभिन्न क्षेत्रों में सुरक्षा चिंताओं के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए एक महत्वपूर्ण मंच के रूप में कार्य करता है।
* राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के दिन विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम अभियान और शैक्षणिक कार्यक्रम आयोजित होते हैं , जिसके माध्यम लोगों को सुरक्षा के प्रति जागरूक किया जाता है |
* राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस जीवन के सभी पहलुओं में सुरक्षित नियमों अपनाने और सुरक्षा प्रोटोकॉल पालन को प्रोत्साहित करता हैं।
* यह न केवल दुर्घटनाओं और चोटों को कम करता है बल्कि सुरक्षा की संस्कृति को भी बढ़ावा देता है जहां हर कोई अपनी भलाई और दूसरों की सुरक्षा की जिम्मेदारी लेता है।
* सुरक्षा के महत्व और दुर्घटनाओं के परिणामों पर प्रकाश डालकर सुरक्षा मानकों को बढ़ावा देता हैं।
* यह व्यक्तियों के लिए बेहतर सुरक्षा सुनिश्चित करता है और उद्योगों में सुरक्षित कामकाजी वातावरण को को बढ़ावा देता है।
* राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के क्षेत्र में महत्वपूर्ण काम करने वाले व्यक्तियों और संगठनों को सम्मानित भी किया जाता हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के उद्देश्य |
राष्ट्रीय सुरक्षा मनाने का प्रमुख उद्देश्य समाज में सुरक्षा के क्षेत्र में जागरूकता फैलाना है इसके अलावा उद्योगों, कार्यस्थलों, घरों और सार्वजनिक स्थानों सहित विभिन्न क्षेत्रों में सुरक्षा मुद्दों के बारे में जागरूकता बढ़ाना। नेशनल सेफ्टी डे के माध्यम से दुर्घटनाओं और चोटों को रोकने के लिए सुरक्षित प्रथाओं को बढ़ावा देना और सुरक्षा उपायों को प्रोत्साहित किया जाता हैं। इसके लिए सुरक्षा के क्षेत्र में कई प्रकार के नीतिगत बदलाव और सुरक्षा मानक बनाए जाते हैं। सुरक्षा कार्यों में उत्कृष्ट योगदान के लिए संगठनों और संस्थाओं को 4 मार्च को सम्मानित किया जाता हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद विकिपीडिया |
राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद ( एनएससी ) एक गैर-लाभकारी संगठन है जो जीवन के सभी पहलुओं में सुरक्षा को बढ़ावा देने और दुर्घटनाओं और चोटों को रोकने के लिए समर्पित है। इसकी स्थापना 1913 में किया गया था। इसका हेड क्वार्टर अमेरिका के शिकागो में है राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद का सुरक्षा के क्षेत्र में अनुसंधान का एक लंबा और विशिष्ट इतिहास है। एनएससी का मिशन “कार्यस्थलों, घरों और समुदायों से रोकी जा सकने वाली मौतों और चोटों को खत्म करना है।” एनएससी “एक ऐसी दुनिया की कल्पना करता है जहां पर कोई भी व्यक्ति किसी घटना से घायल ना होगा।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस समारोह |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के दिन देश में कई प्रकार के सुरक्षा संबंधित कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं जिसमें हम सभी लोगों को शामिल होना चाहिए ताकि आप राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के बारे में पूरी जानकारी हासिल कर सके और आप सुरक्षा के कई नियम और सुरक्षा मानक सीख सके। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस संबंधित कार्यक्रम आयोजित करने से आप आसानी से निकासी प्रक्रिया का के बारे में जान पाएंगे। ताकि आपातकाल के स्थिति में आप अपनी जान बचा सके आप अपने स्कूल, कॉलेज या कार्यालय में सुरक्षा अभ्यास आयोजित कर सकते है। इसके अलावा राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के दिन स्कूल और कॉलेज जैसे शैक्षणिक संस्थान प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिताओं, पोस्टर-निर्माण प्रतियोगिताओं और वाद-विवाद का आयोजन छात्रों को सुरक्षा के प्रति जागरूक किया जा सकता है कार्यस्थलों और अन्य संगठनों में सुरक्षा निरीक्षण करना जरूर करना चाहिए ताकि संभावित सुरक्षा खतरों पहचान कर और उन्हें प्रभावी ढंग से ठीक किया जा सके।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस थीम 2024 |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस प्रत्येक साल एक विशेष थीम के अंतर्गत मनाया जाता है, 2024 में राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस थीम Focus on Safety Leadership for ESG Excellence” हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद भारत |
फरवरी, 1966 में स्थायी श्रम समिति के 24वें सत्र में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद (एनएससी) के गठन से संबंधित प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया गया। इसके उपरांत एनएससी की स्थापना 4 मार्च, 1966 को भारत सरकार के श्रम मंत्रालय द्वारा की गई थी।इसे सोसायटी पंजीकरण अधिनियम, 1860 के तहत एक सोसायटी के रूप में और बाद में बॉम्बे पब्लिक ट्रस्ट अधिनियम, 1950 के तहत एक सार्वजनिक ट्रस्ट के रूप में पंजीकृत किया गया था। राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद भारत का हेड क्वार्टर मुंबई में हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह क्या है?
राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह की शुरुआत 4 मार्च से लेकर 10 मार्च के बीच की जाती हैं। इस दौरान देशभर में कई प्रकार के शिक्षा संबंधित कार्यक्रम सेमिनार आयोजित होते हैं जहां पर सुरक्षा के क्षेत्र में काम करने वाले संस्थान और एक्सपर्ट सम्मिलित होकर सुरक्षा के क्षेत्र में और क्या-क्या चीज हमें अन्वेषण करनी चाहिए उसके लिए आपस में विचारों का आदान-प्रदान होता हैं। राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद भारत सरकार के द्वारा कई प्रकार के राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस संबंधित कार्यक्रम संचालित किए जाते हैं। जिसमें कोई भी व्यक्ति शामिल हो सकता हैं। ताकि सुरक्षा के नए-नए आयाम और चीज सीख सके। इसके अलावा शिक्षा के क्षेत्र में काम करने वाले व्यक्ति और संस्थाओं को पुरस्कार भी दिया जाता हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस देश के लिए एक महत्वपूर्ण दिन है, क्योंकि यह सुरक्षा के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाने और व्यक्तियों और संगठनों को सुरक्षित प्रथाओं को अपनाने के लिए प्रोत्साहित करने में मदद करता है। राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस उन व्यक्तियों और संगठनों के प्रयासों को पहचानने का भी एक अवसर है जिन्होंने अपने कार्यस्थलों और समुदायों में सुरक्षा में सुधार के लिए महत्वपूर्ण योगदान दिया है। इसमें वो व्यक्ति शामिल है जिन्होंने दुर्घटनाओं को रोकने के लिए कोई कदम उठाए हो या ऐसे संगठन जिन्होंने सुरक्षा कार्यक्रम लागू किए और उससे दुर्घटनाओं में कमी आई हो। साथ ही यह दिन औद्योगिक और कार्यस्थल सुरक्षा, सड़क सुरक्षा, अग्नि सुरक्षा, निर्माण सुरक्षा, कार्यालय सुरक्षा आदि सहित विभिन्न क्षेत्रों में सुरक्षा के महत्व के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए भी समर्पित है।
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